प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की डिग्री के खिलाफ टिप्पणी के कारण मानहानि के मुकदमे का सामना कर रहे दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। गुजरात हाईकोर्ट ने केंद्रीय सूचना आयोग के आदेश को रद्द करने के खिलाफ अरविंद केजरीवाल की अपील पर सुनवाई स्थगित कर दी है।
11 जनवरी तक के लिए सुनवाई स्थगित- कोर्ट
मुख्य न्यायाधीश सुनीता अग्रवाल और न्यायमूर्ति अनिरुद्ध पी माई की खंडपीठ ने मामले को 11 जनवरी तक के लिए स्थगित कर दिया है। इस दौरान केजरीवाल ने कहा कि मामले में उनका प्रतिनिधित्व करने वाले वकील अभिषेक मनु सिंघवी तकनीकी समस्या के कारण ऑनलाइन कनेक्ट नहीं हो पा रहे हैं। वहीं सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने इस पर नाराजगी जताई, हालांकि बाद में उन्होंने इस पर अपनी सहमति दे दीं।
मुख्य न्यायाधीश अग्रवाल ने कहा कि अदालत केजरीवाल के विलंब माफी आवेदन पर फैसला करेगी, जिसे 11 जनवरी को उनकी अपील के साथ गुरुवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया था।
कोर्ट ने कहा था- मामले का राजनीतिकरण करने की कोशिश
बता दें नवंबर में हाईकोर्ट की एकल पीठ ने केजरीवाल की उस याचिका को खारिज कर दिया था, जिसमें पीएम की डिग्री के बारे में जानकारी देने के लिए गुजरात विश्वविद्यालय को केंद्रीय सूचना आयोग के निर्देश को रद्द करने के अपने पहले आदेश की समीक्षा की मांग की गई थी। उस वक्त अदालत ने अरविंद केजरीवाल पर लगाए गए जुर्माने को उचित ठहराते हुए कहा था कि उन्होंने पूरे मामले का राजनीतिकरण करने की कोशिश की और सूचना के अधिकार (आरटीआई) की प्रक्रिया का दुरुपयोग किया।
मेहता बोले, स्थगित करने की मांग आश्चर्यजनक
सॉलिसिटर जनरल मेहता ने कहा कि आज गुजरात हाईकोर्ट में मुख्य न्यायाधीश की अदालत में मामला आने से पहले ही अरविंद केजरीवाल ने सभी को आश्चर्यचकित करते हुए स्थगन की मांग कर दी।