जमशेदपुर : झारखंड सिख समन्वय समिति के अध्यक्ष सरदार तारा सिंह गिल के नेतृत्व में गुरुवार को एक प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से सर्किट हाउस में भेंट कर अंगवस्त्र एवं पुष्प-गुच्छ देकर सम्मानित किया गया. झारखंड के सिखों की मूलभूत समस्याओं के निराकरण के संबंध में उनका ध्यान आकर्षित करते हुए उन्हें पांच सूत्री ज्ञापन सौंपा गया. समिति ने झारखंड के सिखों को जाति प्रमाण-पत्र का एनओसी देने, सिख गुरुओं गुरु नानक देव जी अथवा गुरु गोबिंद सिंह जी के नाम एक विश्वविद्यालय की स्थापना जमशेदपुर में करने, जिसमें शैक्षणिक शिक्षा के अलावा अभियान्त्रिकी एवं चिकित्सा की शिक्षा व्यवस्था उच्च स्तर करने की मांग की गई, ताकि हमारे बच्चे को दूसरे राज्यों में न जाना पड़े. इसके साथ ही सिखों की जनसंख्या जमशेदपुर में लगभग दो लाख है. अत: एक विधान सभा सीट से सर्वसम्मति पूर्वक सिख उम्मीदवार को खड़ा करने का मामला भी जोर से उठाया गया. झारखंड में भी उर्दू अकैडमी की तर्ज़ पर सिख अकैडमी की स्थापना करने, सिखों के बुद्धिजीवी वर्ग झारखंड सरकार की केंद्रीय कार्यकारिणी समिति में एक सिख का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करने की मांग शामिल है। मुख्यमंत्री ने इस पर विचार विमर्श करने की बात का आश्वासन दिया है. इस दौरान झारखंड सिख समन्वय समिति के हरविंदर सिंह मंटू, गुरदीप सिंह काके, दलजीत सिंह दल्ली, अजीत सिंह गंभीर, रवींद्र सिंह रवि, हरजीत सिंह विर्दी, हरविंदर सिंह, इंदर सिंह इंदर, बलजीत सिंह, दलजीत सिंह बिल्ला, अवतार सिंह भाटिया, सतबीर सिंह गोलडू, पिंटू सैनी, जतिंदर सिंह शालू, हरिंदर सिंह बेदी, कमलजीत कौर गिल, सविता सिंह तथा अन्य शामिल थे.